
क्राइम डेस्क।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) ने रविवार को बड़ी कार्रवाई करते हुए जयपुर पुलिस कमिश्नरेट की महिला अत्याचार अनुसंधान यूनिट में लगे ACP (डिप्टी एसपी) कैलाश बोहरा (बावरिया) को रिश्वत के बदले अस्मत मांगने पर आपत्तिजनक हालात में रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। RPS कैलाश बोहरा रविवार की छुट्टी के दिन युवती से मिलने अपने सरकारी दफ्तर पहुंचा और दरवाजा बंद कर इज्जत से खेलने की कोशिश करने लगा। एसीबी ने छापा मारकर पकड़ लिया। पूरी कार्रवाई एसीबी के डीजी बीएल सोनी व एडीजी दिनेश एमएन के निर्देशन में एडिशनल एसपी नरोत्तम वर्मा ने की।
देहशोषण की शिकार हो चुकी युवती का फिर करना चाहता था देहशोषण:
पीड़िता युवती ने जवाहर सर्किल थाने में एक युवक व अन्य लोगों के खिलाफ बलात्कार, धोखे से गर्भपात कराने, धोखाधड़ी सहित 3 मुकदमे दर्ज करवाए थे। इन मुकदमों की जांच महिला अत्याचार अनुसंधान यूनिट में एसीपी कैलाश बोहरा कर रहे हैं। दुष्कर्म केस की जांच के बहाने आरोपी अफसर 30 साल की पीड़िता को बार-बार ऑफिस बुलाता था।
ACP बोहरा ने मुकदमा दर्ज करवाने वाली 30 वर्षीय युवती से रिश्वत में अस्मत मांगी। इसके लिए ACP ने रविवार का दिन चुना। बोहरा ने आबरू लूटने के लिए सुरक्षित जगह जयपुर कमिश्नरेट के डीसीपी पूर्वी का सरकारी दफ्तर चुना। इसी भवन में ग्राउंड फ्लोर पर महिला अत्याचार अनुसंधान यूनिट का ऑफिस है। इसमें सहायक पुलिस आयुक्त कैलाश बोहरा खुद बैठते हैं। रविवार को छुट्टी का दिन था। ACP को पता था कि आज ऑफिस बंद होने से स्टाफ नहीं आता।
ऐसे में वे निजी कार लेकर सिविल ड्रेस में ऑफिस पहुंचे। खुद ही ऑफिस का लॉक खोला। इसके बाद पीड़िता के ऑफिस पहुंचने पर उसे अपने कमरे में ले गए। जहां युवती को अंदर बुलाकर दरवाजा बंद कर लिया। तब पहले से ही तैयारी ACB ने अफसर को रंगे हाथों दबोच लिया।

ACB ने फोन सर्विलांस पर लिया: एक सप्ताह से कर रहे थे अश्लील बातचीत
ACP कैलाश बोहरा को ट्रैप करने वाले ACB के एडिशनल एसपी नरोत्तम वर्मा के मुताबिक, ऑफिस में बुलाने के लिए भी कैलाश व पीड़िता युवती के बीच फोन पर बातचीत हुई। इसमें भी बोहरा ने युवती से रिश्वत में अस्मत चाहने के लिए आपत्तिजनक बात की। यह बात फोन में रिकॉर्ड है। जानकारी के मुताबिक 6 मार्च को युवती ने ACB में शिकायत की थी। इसके बाद ACP ने शिकायत के सत्यापन के लिए ACP बोहरा के मोबाइल को सर्विलांस पर लिया था।
एएसपी नरोत्तम वर्मा ने कहा कि ACP ने पिछले सात-आठ दिनों से बातचीत हो रही थी। वे सारी रिकॉर्डिंग ACB के पास मौजूद है। युवती को ऑफिस बुलाने के लिए जब फोन किया। इसमें भी ACP ने अस्मत मांगने के लिए युवती से आपत्तिजनक बातचीत की।
बोहरा 1996 में हुआ था थानेदार भर्ती, 2 साल बना RPS:
कैलाश बोहरा 1996 में बतौर सब इंस्पेक्टर राजस्थान पुलिस में भर्ती हुआ था। वह जयपुर के बजाज नगर, सदर, शिवदासपुरा, सामोद सहित कई प्राइम थानों में इंचार्ज रहा। करीब दो साल पहले ही कैलाश बोहरा पुलिस इंस्पेक्टर से पदोन्नत होकर RPS बना। इसके खिलाफ केस दर्ज था और CBI जांच चल रही थी। RPS में प्रमोशन के बाद बोहरा की पहली पोस्टिंग पुलिस मुख्यालय की सिविल राइट्स ब्रांच में हुई। कुछ महीने पहले ही बोहरा का जयपुर कमिश्नरेट के पूर्व जिले में महिला अत्याचार अनुसंधान यूनिट में सहायक पुलिस आयुक्त (ACP) के तौर पर नियुक्ति हुई।
